रमजान के मुकद्दस मौके पर, रोजदारों को संगठन का पैगाम
संवाददाता मोहम्मद बेलाल
लालगोपालगंज प्रयागराज: कस्बे के चर्चित संगठन अंजुमन फ़लाहुल मुस्लेमीन के मोहम्मद अब्दुल रहमान फारुकी कादरी मुस्तफाई ने लोगों से आवाहन किया है कि इस्लामी कैलेंडर का नौवां महीना रमज़ान बहुत मुबारक है। इस माह में आत्मा की पाकीज़गी वास होता है जो सबसे अच्छा अमल रोज़ा है। इससे इंसान का मन और कर्म पवित्र होता है। हर मुसलमान आकिल बालिग मर्द व औरत पर रोज़े फर्ज है। पूरे एक महीने मुसलमान रोज़े रखकर अपने रब को राज़ी करेंगें। डाक्टरों का कहना है कि पूरे एक महीने संयमित उपवास रखने से पाचन तंत्र दुरूस्त हो जाते हैं धार्मिक पक्ष यह है कि रमज़ान के पाक महीना कठिन साधना से इंसान ईश्वर का नेक और फरमाबरदार (आज्ञाकारी) बंदा बनने की कसौटी पर खरा उतर सकता है। मौलाना अब्दुल रहमान मुस्तफाई बताते हैं कि इस्लाम के पांच फर्जों में से रोज़ा एक है रब का फ़रमान है रोजा मेरे लिए है और उसका सवाब (पुण्य) मैं ही दूंगा।
इस माहे रमज़ान में तमाम आलम ए इंसानियत को मुहब्बत और भाईचारगी का पैगाम आम करें और हर भूखे इंसान की भूख को मिटाने तथा प्यासे की प्यास को मिटाने और ज़्यादा से ज़्यादा गरीबों की इमदाद करने की कोशिश करें।
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